अयोध्या में MSc स्टूडेंट ने लगाई फांसी; बरेली का रहने वाला था छात्र; परिजनों ने शिक्षक पर लगाये ये आरोप!

अयोध्या के आचार्य नरेंद्र देव कृषि एवं प्रौद्योगिकी विवि के एमएससी के छात्र यशपाल सिंह ने आत्महत्या कर ली. हॉस्टल के कमरे में उसकी लाश मिली. छात्र के भाई ने विवि के प्रोफेसर पर उत्पीड़न के आरोप लगाए हैं. प्रोफेसर के खिलाफ मामले में मुकदमा दर्ज किया गया है. घटना के बाद विवि के छात्रों ने भी प्रोफेसर के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है. परिजनों के मुताबिक प्रोफेसर लगातार यशपाल का उत्पीड़न कर रहा था. उसने डिग्री रोकने की धमकी भी दी थी. यशपाल काफी होनहार था. वह आईएएस बनना चाहता था.

अयोध्या में आचार्य नरेंद्र देव कृषि एवं प्रौ‌द्योगिक विश्ववि‌द्यालय में MSc छात्र यशपाल सिंह की मौत के बाद स्थिति नॉर्मल नहीं है. प्रोफेसर डॉ. विशुद्धानंद के खिलाफ FIR दर्ज हुई. वो फरार हैं. हॉस्टल के कमरा नंबर-82 को सील कर दिया गया है.

यशपाल सिंह बरेली के फरीदपुर थाना क्षेत्र के विथरी चैनपुर गांव का रहने वाला था। उसके पिता मलखान सिंह पेशे से किसान हैं. उनके 4 बेटों में यशपाल सबसे छोटा था। सूचना मिलने पर रात करीब 11 बजे घरवाले यूनिवर्सिटी पहुंचे। उन्हें पता चला कि यशपाल की डेड बॉडी जिला मुख्यालय पर है.

वे लोग सीधे पोस्टमॉर्टम हाउस पहुंच गए. यहां 14 मई को दिन में 12 बजे यशपाल का पोस्टमॉर्टम हुआ. पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट में मौत का कारण फंदे से लटकना आया. टाइम ऑफ डेथ दिन के करीब 2 बजे के आसपास थी.

कॉलेज के 3200 छात्रों ने किया बवाल
यशपाल की मौत के बाद यूनिवर्सिटी में पढ़ने वाले करीब 3200 छात्रों में आक्रोश पनपने लगा. सोमवार देर रात करीब 2 बजे छात्रों ने यूनिवर्सिटी गेट पर धरना-प्रदर्शन किया. कुलपति आवास के मेन गेट पर छात्रों ने जमकर हंगामा किया. यूनिवर्सिटी प्रशासन के खिलाफ नारेबाजी की गई. इसमें गर्ल्स हॉस्टल की लड़कियां भी शामिल रहीं.

हंगामे की सूचना पर ASP मिल्कीपुर सुनील कुमार सिंह, कुमारगंज प्रभारी निरीक्षक रतन सिंह समेत तीन थानों की पुलिस फोर्स यूनिवर्सिटी पहुंची. यहां छात्र-छात्राओं ने एसोशिएट प्रोफेसर डॉ. विशुद्धानंद के खिलाफ टॉर्चर करने का आरोप लगाया. विशुद्धानंद को गिरफ्तार करने की मांग की. कुलपति से आकर बात करने की अपील की. मंगलवार को छात्रों ने कैंडल मार्च निकाल कर यशपाल को श्रद्धांजलि दी.